प्रयास है कुछ दर्पण में अक्स दिखाने का,
कुछ ऐसे सच जो गहन अंधकार में छुपे हैं।
जिन्हें अब चाहिए उजास,
करती हूँ सबका आह्वान,
चलें हम सब साथ - साथ,
उस गहन अंधकार के पास,
छटपटाता है पड़ा ’ सच ’ जिसके पास।
Arun Ye Madhumaya Desh Hamara By Jaishankar Prasad
कुछ ऐसे सच जो गहन अंधकार में छुपे हैं।
जिन्हें अब चाहिए उजास,
करती हूँ सबका आह्वान,
चलें हम सब साथ - साथ,
उस गहन अंधकार के पास,
छटपटाता है पड़ा ’ सच ’ जिसके पास।
Arun Ye Madhumaya Desh Hamara By Jaishankar Prasad